जय चंद्रप्रभु देवा, स्वामी जय चंद्रप्रभु देवा ।
तुम हो विघ्न विनाशक स्वामी, तुम हो विघ्न विनाशक स्वामी
पार करो देवा, स्वामी पार करो देवा ॥
मात सुलक्षणा पिता तुम्हारे महासेन देवा ।
चन्द्र पूरी में जनम लियो हैं स्वामी देवों के देवा ॥
तुम हो विघ्न विनाशक, स्वामी पार करो देवा ॥
जय चंद्रप्रभु देवा ।।१।।
जन्मोत्सव पर प्रभु तिहारे, सुर नर हर्षाये ।
रूप तिहार महा मनोहर सब ही को भायें ॥
तुम हो विघ्न विनाशक, स्वामी पार करो देवा ॥
जय चंद्रप्रभु देवा ।।२।।
बाल्यकाल में ही प्रभु तुमने दीक्षा ली प्यारी ।
भेष दिगंबर धारा, महिमा हैं न्यारी ॥
तुम हो विघ्न विनाशक, स्वामी पार करो देवा ॥
जय चंद्रप्रभु देवा ।।३।।
फाल्गुन वदि सप्तमी को, प्रभु केवल ज्ञान हुआ ।
खुद जियो और जीने दो का सबको सन्देश दिया ॥
तुम हो विघ्न विनाशक, स्वामी पार करो देवा ॥
जय चंद्रप्रभु देवा ।।४।।
अलवर प्रान्त में नगर तिजारा, देहरे में प्रगटे ।
मूर्ति तिहारी अपने अपने नैनन, निरख निरख हर्षे ॥
तुम हो विघ्न विनाशक, स्वामी पार करो देवा ॥
जय चंद्रप्रभु देवा ।।५।।
हम प्रभु दास तिहारे, निश दिन गुण गावें ।
पाप तिमिर को दूर करो, प्रभु सुख शांति लावें ॥
तुम हो विघ्न विनाशक, स्वामी पार करो देवा ॥
जय चंद्रप्रभु देवा ।।६।।